नाम : रज़िया सुल्तान
पद : प्रदेश उपाध्यक्ष, ज़ोनल इंचार्ज लखनऊ (अल्पसंख्यक विभाग), उपाध्यक्ष जिला-प्रयागराज, कांग्रेस
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परिचय
रज़िया सुल्तान कांग्रेस पार्टी की एक अनुभवी राजनीतिज्ञ हैं. लम्बे समय से राजनीति कर रही और राजनीति में अपनी पहचान बना चुकी रज़िया सुल्तान वर्तमान में कांग्रेस पार्टी में रहते हुए विभिन्न पदों अपनी जिम्मेदारी निभा रही हैं. वर्तमान में वह इलाहाबाद से जिला समिति की उपाध्यक्ष हैं. इसके साथ ही वह कांग्रेस के अल्पसंख्यक विभाग की राज्य उपाध्यक्ष भी हैं और वह लखनऊ मंडल के इंचार्ज पद पर रहकर भी अपने पदभार को संभाल रही हैं.
उच्च शिक्षा पाई रज़िया सुल्तान का प्रारंभ से ही समाज सेवा में काफी लगाव रहा है. उनके बाबा स्वतंत्रता सेनानी थे, जिनकी वजह से उन्होंने कांग्रेस पार्टी के बैनर तले राजनीति के माध्यम से समाज तथा वंचित वर्गों के प्रति अपने दायित्वों को पूर्ण करने का प्रण लिया. उनकी पिछली दो पीढियां कांग्रेस पार्टी के कार्यों तथा उनके विचारों को आत्मसात कर अपनी सेवाएं आमजन तक पहुंचाने में अपना योगदान दे रही हैं. पारिवारिक पृष्ठभूमि राजनीतिक होने के कारण उन्होंने सामजिक क्षेत्र में सक्रिय रहते हुए भी राजनीति के क्षेत्र को चुना.
मूल रूप से सफीपुर, उन्नाव की निवासी रज़िया एक जानी मानी कवयित्री होने के साथ-साथ एक बेहतरीन लेखिका भी हैं. उन्होंने मोअल्लिम अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी से एम.ए किया है तथा वह इलाहाबाद यूनिवर्सिटी से एल.एल.बी भी कर रही हैं. वह इलाहाबाद कुलपति इंटर कॉलेज में शिक्षिका भी रह चुकी हैं, परन्तु सदैव से ही उनके मन में समाज के हित के लिए कार्य करने की चाह रहीं जिसके करण उन्होंने अपने पद से इस्तीफा दे दिया और वह पूर्ण रूप से समाज सेवा के कार्यों में संलग्न हो गयी. उन्हें शंकराचार्य जी द्वारा अतिविशिष्ट विभूति सम्मान पुरस्कार, त्रिवेणी गंगा गौरव सम्मान पुरस्कार तथा ऐसे ही महत्वपूर्ण 60 पुरस्कारों से अब तक सम्मानित किया जा चुका है.
राजनीतिक पर्दापण
लोकहित के कार्यों का वहन कर तथा राजनीतिक क्षेत्र में 20 वर्षों से पूर्ण रूप से सक्रिय रज़िया सुल्तान अब तक कांग्रेस कमेटी के स्थानीय व राज्य स्तर पर विभिन्न पदों का कार्यभार संभाल चुकी हैं. वह महिला जिला कांग्रेस कमेटी की सचिव व महासचिव पद पर रह चुकी हैं, साथ ही वह महिला जिला कांग्रेस कमेटी के मीडिया प्रकोष्ठ विभाग में प्रभारी पद की जिम्मेदारी भी निभा चुकी हैं. इन सभी पदों पर अपने कार्य को पूर्ण करते हुए उन्होंने जिला कांग्रेस कमेटी में सचिव तथा महासचिव जैसे महत्वपूर्ण पदों पर भी अपने दायित्वों को निभाया है.
संगठनों के माध्यम से समाज सेवा
रज़िया सुल्तान भारतीय जनहित कल्याण समिति की प्रबंधक भी है, जिसके माध्यम से लगभग 10 लाख तक के सालाना समारोह आयोजित किए जाते हैं. उनके द्वारा आयोजित इन कार्यक्रमों में विशिष्ट राजनीतिज्ञ, सभी जातियों व वर्गों के लोग और बड़ी संख्या में साधु-संत मंच पर एक साथ उपस्थित होते हैं तथा इस कार्यक्रम के अंतर्गत तकरीबन 15 क्विंटल की मात्रा में खिचड़ी का भंडारा किया जाता है, जिसे सभी एक साथ बैठ कर प्रेम भाव से ग्रहण करते हैं.
इसके साथ ही वह विभिन्न
समितियों से जुड़कर समाज सेवा के कार्यों में सदैव अग्रसर रहती हैं. उनकी इसी
प्रकार की कार्यकुशलता को देखते हुए उन्हें काफी संस्थाओं में भी महत्वपूर्ण
जिम्मेदारी निभाने का अवसर प्रदान किया हुआ है. एक ओर जहां वह कन्या रक्षा संघर्ष
मोर्चा उत्तर प्रदेश से प्रदेश अध्यक्ष का पदभार संभाल रही है, वहीं दूसरी ओर वह मानव
अधिकार आयोग में महिला प्रधान और जिला पर्यवेक्षक के उत्तरदायित्व को पूर्ण कर रहीं हैं.
इनके अतिरिक्त रज़िया भारतीय मुस्लिम महिला संगठन में संयोजक, पुलिस परिवार परामर्श केंद्र पुलिस लाइन्स,
इलाहाबाद से पार्षद, असंगठित कर्माकर श्रमिक
यूनियन में महासचिव पद पर भी अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही हैं.
सामाजिक सरोकार
सामाजिक कार्यों में सक्रिय भागीदारी देते हुए रजिया सुल्तान प्रतिवर्ष सर्व धर्म सद्भाव मकर संक्रांति महोत्सव, अखिल भारतीय मुशायरा, कवि सम्मलेन, प्रयाग गौरव सम्मान समारोह जिसके अंतर्गत 55 की संख्या में महान विभूतियों को सम्मानित किया जाता है, इसी प्रकार के विभिन्न समारोह का वह आयोजन कराती हैं, जिसके अंतर्गत काफी संख्या में लोग बढ़-चढ़ कर भागीदारी सुनिश्चित करते हैं. अपने इसी व्यवहार के कारण वह लोगों के मध्य काफी प्रसिद्ध है. उनके द्वारा आयोजित इस कवि सम्मलेन का मात्र एक उद्देश्य है, कि हमारे प्रयागराज से समस्त विश्व को एकता का पैगाम मिले.
इसके अतिरिक्त रज़िया सुल्तान प्रतिवर्ष ईद-मिलन समारोह का आयोजन करती हैं, जिसमें लगभग 30
हजार लोग शामिल होते हैं और सभी एक साथ ईदगाह पर प्रार्थना करते हैं. समारोह के
दौरान ईदगाह के बाहर कैंप लगाया जाता है, जहां लगभग 200 से
भी अधिक अन्य धर्मों के लोग उपस्थित सभी व्यक्तियों के लिए शुद्ध पेयजल की
व्यवस्था करते हैं और उन्हें जाते समय मीठी सेवैयाँ व समारोह में भागीदारी देने के
लिए उन्हें पुष्पगुच्छ भेंट कर उन्हें गले लगाकर मुबारकबाद देते हैं.
इसके साथ ही रज़िया सुल्तान महिलाओं के विकास के लिए भी बढ़-चढ़ कर कार्य करती हैं. वह सभी महिलाओं की मूलभूत आवश्यकताओं को गंभीरता से समझ कर उन्हें प्रत्येक सुविधा उपलब्ध कराने के लिए अग्रसर रहती हैं. उनके विभिन्न प्रयासों के माध्यम से महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने के लिए प्रेरित किया जाता है.
अपने प्रयासों के माध्यम से रज़िया समाज में बदलाव लाने के लिए प्रयासरत हैं. वह समाज के हित के लिए किए गये अपने प्रत्येक कार्यों को निःस्वार्थ भाव से पूर्ण करती हैं. वह केवल राजनीति के क्षेत्र में ही नहीं अपितु लोककल्याण के मार्ग में अग्रसर होकर कार्य करने वाली राजनीतिज्ञों में से हैं, अपने प्रयासों के माध्यम से वह समाज में हाशिये पर खड़े वंचित वर्ग के लोगों, निर्धनों व असहायों को अपनी सेवाएं पहुंचाने के प्रति विभिन्न कार्य करती हैं.
प्रमुख क्षेत्रीय मुद्दें
क्षेत्र की विभिन्न परिस्थितियों को करीब से देखने व समझने के बाद उन्हें दूर करने वाली रज़िया सुल्तान के अनुसार उनके क्षेत्र में एक भी फैक्ट्री नहीं है, जिसके कारण लोगों को रोजगार उपलब्ध नहीं हो पा रहें. क्षेत्र के नौजवानों, पुरुषों व महिलाओं को भी अपने स्तर पर कार्य करने का अवसर प्रदान नही हो पाता. इसके साथ ही आज हम विकसित देश की बात करते हैं, लेकिन क्षेत्र की सड़कें वही बदतर हालत में हैं. उनके जीर्णोधार की और ध्यान भी नहीं दिया जाता.
इसके अतिरिक्त क्षेत्र
में शिक्षा का बेहद अभाव है. हम बात करते हैं, कि बेटियों को साक्षर बनाना है, परन्तु यहां पर पुरुष भी स्वयं शिक्षा से वंचित हैं. एक
शिक्षित व्यक्ति ही अपने पूरे परिवार को शिक्षित कर पाने में सक्षम होता है, और शिक्षा ही देश के विकास की प्रथम सीढ़ी होती है, तो इस दिशा में कार्य करने की बेहद आवश्यकता है.
वैश्विक परिपेक्ष्य में भारत
रज़िया सुल्तान के अनुसार हमारा भारत बेहद विशाल देश है. हमारे देश की यह एक विशेषता है कि यहां पर अनेकता में एकता दिखाई देती है. भाईचारे की भावना के साथ सभी मिलजुल कर एक साथ रहते हैं. किसी भी विकट परिस्थिति में मुट्ठी की भांति एक होकर सहयोग प्रदान करते हैं.
सभी प्रकार के धर्म, विभिन्न जातियों के लोग भारत में मिलकर रहते हैं.
परन्तु आज हमारे देश की नींव को कुछ भेदियों ने कमजोर कर दिया है. कैसे समृद्ध हो
पाएगा हमारा भारत जब देश के लोग ही भेदी बन कर यहां आक्रामक हमले करा रहें हैं? उनके अनुसार आज समय है, भारत को फिर से सोने की
चिड़िया में परिवर्तित करने का और आक्रामक जैसी इस समस्या को मिलकर दूर करने का
संभव प्रयास हम सबको करना होगा तभी हमारा राष्ट्र विकसित होगा और उन्नति के शिखर
को