नाम : कौशलेन्द्र द्विवेदी
पद : पार्षद, विद्यावती द्वितीय भाग वार्ड -38, लखनऊ
नवप्रवर्तक कोड : 71183050
परिचय :
कौशलेन्द्र द्विवेदी विद्यावती द्वितीय भाग वार्ड 38 से भाजपा पार्षद हैं. उन्होंने अपनी इंटर की शिक्षा बायो व मैथ्स विषय से सम्पूर्ण की है. मूल रूप से इटावा जनपद के निवासी कौशलेन्द्र जी बीएससी से स्नातक प्राप्त हैं तथा उन्होंने आईटीआई भी कर रखी है. वर्ष 1996 में उमा भारती उमा भारती जी युवा मोर्चा की राष्ट्रीय अध्यक्ष थी एवं वर्तमान के उप मुख्यमंत्री डॉ. दिनेश शर्मा जी उस समय प्रदेश के युवा मंडल के प्रदेश अध्यक्ष थे, उस समय कौशलेन्द्र जी ग्रामीण के मंडल अध्यक्ष रहे. वैसे इटावा जिले को समाजवादियों का गढ़ माना जाता है, परन्तु वें समाजवादी पार्टी की नीतियों से संतुष्ट नहीं थे, जिस कारण उन्होंने भाजपा दल को चुना.
राजनैतिक क्षेत्र में आने का कारण :
गाँव के अपने ननिहाल में बचपन व्यतीत करने के कारण ग्रामीण इलाकों में फैली अव्यवस्था को कौशलेन्द्र जी ने करीब से अनुभव किया है. उसके बाद जब वें शहर में शिक्षा प्राप्ति के उद्देश्य से गये तो उन्होंने शहरों और गांवो में व्यवस्था के अंतर को महसूस किया, उनके राजनीति में प्रवेश करने का सबसे मुख्य कारण भी यही रहा. समाज में सकारात्मक परिवर्तन लाने के लिए उन्होंने राजनीति को चुना. भाजपा की नीतियों से प्रभावित होकर कौशलेन्द्र जी ने संगठन के माध्यम से अप्रत्यक्ष रूप से सामाजिक कार्य करने का विचार बनाया था, परन्तु संगठन के लोगों ने कौशलेन्द्र जी को चुनाव में उतारा तथा लोगों के समर्थन से इन्होनें चुनाव लड़ा एवं जीत हासिल की.
क्षेत्रीय मुद्दें :
विद्यावती क्षेत्र में जलभराव की समस्या सबसे प्रमुख मुद्दा रहा है, कौशलेन्द्र जी ने इसके कारण और निवारण दोनों पर कार्य करने का मन बनाया हुआ है. उनके अनुसार यह केवल विद्यावती क्षेत्र ही नहीं अपितु एलडीए कॉलोनी, कृष्णा नगर व आलमबाग की भी दिक्कत है, वें चाहते हैं कि अमृत योजना के तहत एसटीपी संयंत्र चालू होने से इस समस्या का समाधान हो सकता है और वें इसी दिशा में कार्यरत हैं.
इसके साथ ही वें चेन्नई की तर्ज पर सड़कों की स्वच्छता का अभियान चाहते हैं, जिसके अंतर्गत रात के समय सड़कों की सफाई की जाती है. उनका मानना है कि इससे प्रात: टहलने वालों को भी आसानी होगी और साथ ही रात्रि के समय सामाजिक सुरक्षा भी बनी रहेगी.
जल, बिजली, पेट्रोल, डीजल इत्यादि प्राकृतिक संसाधनों के सुरक्षित एवं सीमित उपयोग पर वें बल देते हैं, कौशलेन्द्र जी का मानना है कि इस दिशा में भूजल दोहन पर क़ानूनी रूप से रोक लगनी चाहियें क्योंकि सक्षम वर्ग के लोग जल की अत्यधिक बर्बादी करते हैं, वहीं गरीब लोगों को पीने का स्वच्छ जल तक भी प्राप्त नहीं हो पाता है.
इन सभी कार्यों के लिए वें जनता के सहयोग को सबसे अहम मानते है. वें चाहते है कि उनके क्षेत्र की जनता एकजुट होकर, एकमत से उनके साथ मिलकर कार्य करे, तभी इलाके के परेशानियां खत्म हो सकती हैं.
राष्ट्रीय मुद्दों पर विचारधारा :
कौशलेन्द्र जी के अनुसार वर्तमान में भारतवर्ष का सबसे मुख्य मुद्दा जातिवाद के नाम पर नेताओं द्वारा देश को बांटना है, जिस पर प्रतिबन्ध लगना अतिआवश्यक है. संवैधानिक व्यवस्था के हिसाब से जातिगत कार्य होना उचित है, परन्तु नेता सड़कों पर उतर कर जनता के बीच जो कटुता फैला रहें हैं, वह देश को तोड़ने का काम कर रही है. इसके साथ ही चुनावों में स्वार्थगत राजनीति पर भी रोक लगनी जरुरी है तभी देश विकसित हो सकता है.
वैश्विक पटल पर भारत :
वर्तमान भारत में आतंकवाद को वें एक ऐसा मुद्दा मानते है, जो मानवता का ह्राष कर रहा है. उनके अनुसार आज भारत मोदी जी की आगुवाई में निरंतर आगे बढ़ रहा है, लेकिन आतंकवाद देश को वैश्विक पटल पर पीछे धकेल देता है. कौशलेन्द्र जी चाहते हैं कि विश्व भर में भारत उन सभी देशों का प्रतिनिधित्व करे, जो आतंकवाद को दूर करने का प्रयास कर रहे हैं.