स्थापना – 1 अक्टूबर 1984
संस्थापक – विनय कटियार
मुख्यालय- नई दिल्ली
राष्ट्रीय संयोजक – मनोज वर्मा
राष्ट्रीय सह –संयोजक – सोहन सिंह
सदस्य – 13 लाख (लगभग )
कार्यकर्ता – 8,50,000
अखाड़े – 2,500
सूत्रवाक्य – सेवा ,संस्कृति और सुरक्षा
उद्देश्य – गौ ,गीता ,गंगा तथा गायत्री की रक्षा
बजरंग दल हिंदूवादी
संगठन ‘राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ’ (RSS) की शाखा ‘विश्व हिन्दू
परिषद’ (विहिप) का ही एक युवा संगठन हैं . इसकी स्थापना 1 अक्टूबर 1984 में उत्तर प्रदेश में की गयी . वर्तमान में
बजरंग दल के सदस्य व कार्यकर्ता पूरे भारत में हैं . इस संगठन के संस्थापक विनय
कटियार हैं . पिछले कुछ वर्षों में युवाओं के बीच यह संगठन बहुत तेज़ी से लोकप्रिय
हुआ है . जिसके परिणामस्वरूप कुछ युवाओं द्वारा बनाये गये इस दल के वर्तमान में लगभग
13 लाख सदस्य हैं . बजरंग दल
अपने अखाड़े भी चलाता है तथा देश भर में इसके लगभग 2,500 अखाड़े चल रहे हैं . इसके
अलावा इस संगठन के हजारों की संख्या में एकल विद्यालय भी चलते हैं . इसका मुख्यालय नई दिल्ली
में है . 2017 में मनोज वर्मा को बजरंग दल का राष्ट्रीय संयोजक व सोहन सिंह को राष्ट्रीय सह
- संयोजक घोषित किया गया . बजरंग दल अपने सूत्रवाक्य सेवा ,सुरक्षा और संस्कृति के
आधार पर कार्य करता है .
स्थापना एवम् उद्देश्य :
1984
में ‘विश्व हिन्दू परिषद’ अयोध्या से पूरे भारत में
‘रामजानकी रथयात्रा’ निकालना चाहता था . किन्तु उस समय तत्कालीन सरकारों ने इस
शोभायात्रा को सुरक्षा देने से मना कर दिया . इसके बाद विहिप ने शोभायात्रा को
सुरक्षा देने के लिए 16-35 वर्ष के नवयुवकों का एक संगठन बनाया .जिसका नाम रखा गया
‘बजरंग दल’. इसके पश्चात् बजरंग दल के सुरक्षा घेरे में भव्य तरीके से पूरे भारत
में ‘रामजानकी रथयात्रा’ निकाली गयी . यह एक हिन्दूवादी संगठन है , जो हिंदुत्व की
रक्षा व प्रचार –प्रसार के लिए कार्य करता है . बजरंग दल का मुख्य उद्देश्य गौ,
गीता ,गंगा तथा गायत्री की रक्षा करना है . इस संगठन सूत्रवाक्य सेवा, संस्कृति व
सुरक्षा है अर्थात् समाज तथा लोगों की
सेवा करना , अपनी संस्कृति का प्रचार – प्रसार करना एवं अपने धर्म तथा संस्कृति की
सुरक्षा करना . बजरंग दल अपने इसी सूत्रवाक्य के आधार पर कार्य करता है .
कार्यशैली :
जिला ,प्रान्त एवम्
राष्ट्रीय स्तर पर बजरंग दल के लाखों कार्यकर्ता हैं जो लगातार इसके उद्देश्यों की
पूर्ति के लिए काम कर रहे हैं . महीने में एक बार बजरंग दल की नगर स्तरीय एवम्
जिला स्तरीय बैठक होती है , जिसमें दल की कार्यशैली की समीक्षा की जाती है और
प्रान्त द्वारा दिए गये आदेशों का अनुपालन किया जाता है . हर तीन महीने में
प्रान्त संगठन मंत्री जिला स्तरीय घोषणाएं करते हैं जिसके आधार पर जिले के
पदाधिकारी चुने जातें हैं तथा जिले के पदाधिकारियों द्वारा नगर के पदाधिकारी
नियुक्त किये जाते हैं . इसके अतिरिक्त बजरंग दल के प्रांतीय ,राष्ट्रीय एवम्
अंतर्राष्ट्रीय अधिवेशन भी होते रहते हैं जिनमें वर्षभर के कार्यक्रमों और मुद्दों
पर चर्चा की जाती है . बजरंग दल समय –समय पर 2-7 दिनों के शौर्य प्रशिक्षण
शिविरों का भी आयोजन करता है जिसमें कार्यकर्ताओं में शारीरिक एवम् मानसिक रूप से
देश ,समाज और धर्म के प्रति सेवा भाव जाग्रत किया जाता है . इन शिविरों में युवाओं
को सिखाया जाता है कि देश की रक्षा के लिए आत्मसमर्पण करने के लिए भी तत्पर रहना
चाहिए .
सामाजिक कार्य :
बजरंग दल एक धार्मिक संगठन
होने के साथ –साथ एक सामाजिक संगठन भी है
जो मुख्य रूप से हिन्दू धर्म व संस्कृति की रक्षा तथा मंदिरों व मठों की सुरक्षा
के लिए कार्य करता है . यह दल समाज- सेवा के कई कार्यों से जुड़ा रहता है एवम् समय –समय
पर समाज व युवाओं को जागरूक करने के लिए धार्मिक व सामाजिक कार्यों का आयोजन करता
रहता है . बजरंग दल में रक्तदान शिविरों का भी आयोजन किया जाता है जिसमें संगठन के
कार्यकर्ता रक्तदान करते हैं तथा आम लोगों को भी रक्तदान करने के लिए जागरूक करते
हैं . इसके अलावा कोई हादसा या दुर्घटना होने अथवा आपातकाल की स्थिति में बजरंग दल
के स्वयंसेवक मौके पर पहुंचकर लोगों की मदद करते हैं एवम् हेल्पलाइन भी संचालित
करते हैं . बजरंग दल के कार्यकर्ताओं के अनुसार , “बजरंग दल हिन्दू धर्मान्तरण
एवम् लव – जिहाद के नाम पर हो रहे अत्याचार को रोकने , माताओं – बहनों की रक्षा
करने तथा दलित ,शोषित और पिछड़े वर्ग को सम्मान दिलाने का कार्य करता है . बजरंग दल
का उद्देश्य हिन्दू समाज में फैली जातिवादी प्रथा को दूर कर हिन्दू समाज को एकजुट
करना है .” जन सेवा के उद्देश्य से संगठन के कार्यकर्ता गर्मियों में विभिन्न
स्थानों पर हजारों शीतल जल प्याऊ की स्थापना करते हैं ,जिससे की लोगों को राहत
पहुंचाई जा सके .यह संगठन गौ रक्षा के लिए संकप्लबद्ध है तथा इसके कार्यकर्ता
गर्मी में गायों की रक्षा व सेवा करने के उद्देश्य से गौ प्याऊ की स्थापना भी करते
हैं तथा यदि किसी स्थान पर गौ वंश की मृत्यु हो जाती है तो संगठन के कार्यकर्ता
जानकारी मिलने पर उस स्थान पर पहुँचते हैं तथा उसे नगर पालिका की मदद से या स्वयं
किसी सुरक्षित स्थान पर ले जाकर दफनाते हैं . इसके अलावा गंगा नदी को स्वच्छ रखने
तथा स्वदेशी वस्तुओं का प्रयोग करने के प्रति भी बजरंग दल लोगों को जागरूक करता
रहता है .
बजरंग दल अयोध्या में राम मंदिर निर्माण के लिए हमेशा प्रयासरत रहता है . इसके अलावा इस संगठन के कार्यकर्ता धार्मिक विरासतों की रक्षा के लिए तथा सामाजिक बुराईयों के खिलाफ समय –समय पर आन्दोलन करते रहते हैं . रामेश्वरम में रामसेतु को टूटने से बचाने के लिए बजरंग दल ने राष्ट्रीय आन्दोलन किया था . बजरंग दल गरीब तथा पिछड़े वर्ग के लोगों के लिए भी काम करता रहता है . आदिवासी, दलित व पिछड़े वर्ग के बच्चों को मुफ्त शिक्षा देने के लिए वर्तमान में इस संगठन के 50,000 से अधिक एकल विद्यालय चल रहे हैं .हमारी संस्कृति को बनाये रखने के लिए बजरंग दल ने दो संस्कृत वेद पाठशालाओं की भी स्थापना की है . इसके अलावा यह संगठन अनाथ बच्चों की मदद के लिए अनाथालयों का भी संचालन करता है .
PC- बजरंग दल कार्यकर्ता (उन्नाव)