अयोध्या...एक ऐसी नगरी जहाँ स्वयं प्रभु श्री राम ने जन्म लिया, उसके महत्व को वेदों-वेदान्तों और पुराणों ने बेहद समृद्धता के साथ वर्णित किया है. आज भले ही राम मंदिर मुद्दे को लेकर अयोध्या हमेशा चर्चा में रहती हो लेकिन अयोध्या का महत्त्व तो युगों प्राचीन है. "अयोध्या मथुरा माया काशि काँची ह्य्वान्तिका, पुरी द्वारावती चैव सप्तैता मोक्षदायिका." यानी भारत के सबसे प्रमुख तीर्थों मथुरा, हरिद्वार, कांची, कांचीपुरम, उज्जैन, द्वारका, में भी अयोध्या का नाम सबसे पहले लिया जाता है. वेदों के अनुसार सूर्यवंशियों की नगरी कही जाने वाली अयोध्या की स्थापना का श्रेय मनु के पुत्र इक्ष्वाकु को जाता है, जिन्होंने सरयू नदी के किनारे इस पवित्र नगरी को बसाया था. आज भी लाखों श्रृद्धालु प्रतिवर्ष अयोध्या के विभिन्न मंदिरों में दर्शन हेतु जाते हैं.
तो आइये जानते हैं इसी अयोध्या नगरी के एक वार्ड, दिल्ली दरवाजा वार्ड का...जो वर्ष 2017 से पहले फैजाबाद जिले के अंतर्गत आता था, लेकिन योगी सरकार के प्रदेश में आने के बाद फैजाबाद और अयोध्या नगर पालिका को जोड़कर अयोध्या नगर निगम का निर्माण किया गया, जिसमें तकरीबन तीन लाख की आबादी वाले 50 वार्ड को 60 नए वार्ड में विभाजित का दिया गया. इस तरह कभी फैजाबाद नगर परिषद् के 29 वार्ड में से एक दिल्ली दरवाजा वार्ड भी अयोध्या नगर निगम का हिस्सा बन गया.
अयोध्या के विकसित वार्ड में से एक दिल्ली दरवाजा वार्ड में स्थानीय विकास की जिम्मेदारी का वहन भारतीय जनता पार्टी से
दिलीप कुमार यादव कर रहे हैं, जो विगत छह बार से इस वार्ड से पार्षद रहते हुए क्षेत्रीय विकास का दायित्त्व निभा रहे हैं. पार्षद दिलीप कुमार यादव के अनुसार वार्ड में मतदाताओं की संख्या वर्ष 2017 में 7200 थी, जो निकट भविष्य में प्रधानी क्षेत्र जुड़ने से बढ़कर 16-17 हजार हो जाएगी. इसके अतिरिक्त वार्ड में व्यवसायिक और नौकरीपेशा जनता का निवासस्थान है और पार्षद के अनुसार ब्राह्मण, ठाकुर, बनिया वर्ग की संख्या यहाँ की आबादी में सर्वाधिक है. वार्ड की सबसे बड़ी विशेषता यह है कि यह पंचकोसी परिक्रमा मार्ग के अंतर्गत आता है, जिसके चलते यहाँ सड़कों की मरम्मत का कार्य निरंतर जारी रहता है. साथ ही यह वार्ड घंटाघर चौक से भी सटा हुआ है, जो क्षेत्र में पर्यटकों के मध्य बहुत प्रसिद्द है.
मिली जुली जनसंख्या वाले इस इलाके का परिसीमन उत्तर में विश्राम घाट से पालिका सीमा परिक्रमा रोड तक, दक्षिण में अंगूरीबाग चौराहा के सामने से गुदड़ी बाजार चौराहा तक, पूर्व में गुदड़ी बाजार चौराहा से विश्राम घाट तक, पश्चिम में अंगूरीबाग स्कूल के सामने से राज शिशु मन्दिर रोड से नाला पुलिया से शिवमन्दिर बाएं हिस्से तक विस्तृत है. इस वार्ड में आने वाले मोहल्लों में दिल्ली दरवाजा, खुर्द महल, अंगूरी बाग़ कॉलोनी, दीवानी मिसल आंशिक सम्मिलित हैं.
शिक्षा व्यवस्था के तौर पर इस वार्ड में 2-3 प्राइमरी स्कूल हैं, साथ ही यहाँ 3 से 4 प्राइवेट स्कूल, इंटर कॉलेज तथा डिग्री कॉलेज भी मौजूद है. यानी शिक्षा सुविधा के लिहाज से यह वार्ड बेहद समृद्ध कहा जा सकता है. स्वास्थ्य सुविधाओं की बात की जाये तो वार्ड में कोई बड़ा अस्पताल तो नहीं है, किन्तु मात्र 2 किलोमीटर की दूरी पर ही चौक से सटा हुआ अस्पताल है, जो आम जन को अच्छी चिकित्सा सुविधा मुहैया कराता है.
बात यदि वार्ड की प्रमुख समस्याओं के बारे में की जाये तो स्थानीय पार्षद दिलीप कुमार यादव के मुताबिक, उनके वार्ड में कोई बड़ी समस्या नहीं है, क्योंकि अपने छह बार के पार्षदीय कार्यकाल के दौरान उन्होंने लगातार विकास कार्य करवाए हैं. वार्ड में फ़िलहाल कुछ खुले नाले हैं, जिसके लिए उन्होंने महापौर से भी चर्चा की है, निकट भविष्य में जल्द ही इन नालों को ढकने और कुछ सड़कों के निर्माण का टेंडर पास हो जाएगा. इसके साथ ही अन्य मूलभूत आवश्यकताओं जैसे बिजली, पानी, स्वच्छता इत्यादि की उपलब्धता लगभग सारे वार्ड में है और जहां किसी कारणवश नहीं हो पा रही है, वहां इन मसलों के निस्तारण के लिए पार्षद लगातार प्रयासरत हैं.
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